लोकसभा चुनाव के लिए बीजेपी ने पूरे देश में 370 सीटों का लक्ष्य रखा है. साथ ही एनडीए के लिए मिशन 400 का लक्ष्य रखा गया है. मिशन को पूरा करने के लिए हर सीट को लेकर बीजेपी की तरफ से रणनीति बनायी जा रही है. नॉर्थ ईस्ट की 26 सीटों से भी बीजेपी को काफी उम्मीदें हैं. हालांकि बीजेपी ने इस बार रणनीति में परिवर्तन किया है. बीजेपी पहले के चुनावों में कुछ सीटों पर अपने सहयोगियों के साथ कई जगहों पर ‘फ्रेंडली फाइट’ करती रही थी. हालांकि इस बार के चुनाव में बीजेपी अधिक से अधिक सीटों पर जीत दर्ज करने के लिए ‘फ्रेंडली फाइट’ से बचने की रणनीति पर काम कर रही है.
मेघालय के मुख्यमंत्री और एनपीपी प्रमुख कॉनराड संगमा ने क्या कहा?
मेघालय के मुख्यमंत्री और एनपीपी प्रमुख कॉनराड संगमा ने कहा है कि पूर्वोत्तर में एनडीए सहयोगियों ने लोकसभा चुनावों के लिए अन्य एनडीए सहयोगियों को समर्थन देने की योजना बनायी है. मेघालय में, एनडीए एनपीपी का समर्थन कर रहा है. मणिपुर सीट पर हम सभी एनपीएफ का समर्थन कर रहे हैं. गौरतलब है कि संगमा की नेशनल पीपुल्स पार्टी (एनपीपी) पूर्वोत्तर में भाजपा की प्रमुख सहयोगी है. साथ ही एनपीपी पूर्वोत्तर की एक मात्र पार्टी है जिसे राष्ट्रीय पार्टी का दर्जा प्राप्त है.
क्या इंडिया गठबंधन की रणनीति को अपना रही है NDA?
पूर्वोत्तर में एनडीए की इस रणनीति को लेकर जानकारों का मानना है कि सत्ताधारी गठबंधन ने विपक्षी गठबंधन से सीख लेते हुए एक सीट पर एक उम्मीदवार के फर्मूले को अपनाया है. साथ ही इंडिया गठबंधन की कई पार्टियों ने कांग्रेस को सुझाव दिया था कि सीटों का बंटवारा अपने सहयोगियों की ताकत के आधार पर किया जाना चाहिए. हालाकि ऐसा नहीं हो पाया. भाजपा ने यह सुनिश्चित किया है कि वोटों के विभाजन को कम करने के लिए एनडीए में कोई दोस्ताना लड़ाई न हो.
असम के मंत्री और एजीपी प्रमुख अतुल बोरा ने कहा कि हमारी निर्वाचन क्षेत्र समितियां और जिला समिति भाजपा के साथ चर्चा करने के लिए यहां हैं. हमें उम्मीद है कि यह रणनीति काम करेगा क्योंकि हम केवल दो सीटों पर चुनाव लड़ रहे हैं. लेकिन एनडीए असम में सभी 14 सीटें जीत सकता है क्योंकि स्थिति बहुत बदल गई है.
नॉर्थ ईस्ट की राजनीति का क्या है गणित?
असम को मिलाकर पूर्वोत्तर में 8 राज्य आते हैं. असम में लोकसभा की 14 सीटें हैं. वहीं अन्य सात राज्यों में बीजेपी समर्थित दलों की ही सरकार है. असम में पिछले 2 टर्म से विधानसभा चुनाव में भी बीजेपी को जीत मिल रही है. पिछले चुनाव में बीजेपी को 9 सीटों पर जीत मिली थी. इस बार बीजेपी असम सहित नॉर्थ ईस्ट की सभी 26 सीटों पर जीत दर्ज करना चाहती है.