सूबे के टीआई ईमानदार हो जाएंगे तो फिर एसपी और आईजी साहबों का क्या होगा?
एसीबी ने राजधानी रायपुर के महिला थाना प्रभारी को रिश्वत लेते रंगे हाथ गिरफ्तार कर जेल भेज दिया। ये तब हुआ, जब एसीबी चीफ अमरेश मिश्रा खुद रायपुर रेंज के आईजी हैं। बहरहाल, इस कार्रवाई से टीआई लोग भारी दुखी और नाराज हैं। ठीक भी है… आई जी अमरेश मिश्रा ने अच्छा नहीं किया। सूबे के टीआई लोग अगर ईमानदार हो जाएंगे तो फिर एसपी और आईजी साहबों का क्या होगा? जिस प्रदेश में थानों की बोली लगती हो, वहां एसीबी इस तरह की कार्रवाई करने लगे तो फिर पोस्टिंग के लिए पैसा कोई क्यों देगा? लेकिन, आईजी अमरेश मिश्रा के साथ दिक्कत यह है कि वे अपनों को भी नहीं बख्शते। कोरबा में एसपी थे तो रिश्वत के मामले में एक सब इंस्पेक्टर की थाने के भीतर जमकर धुलाई कर डाले थे। जाहिर है, अमरेश मिश्रा अगर दो-एक साल एसीबी में टिक गए तो कोई आश्चर्य नहीं की राजस्थान की तरह दो-चार आईएएस और आईपीएस भी सलाखों के पीछे पहुंच जाएं।
क्या था मामला…
रायपुर महिला थाना प्रभारी गिरफ्तार की गई है। थाना प्रभारी वेदवती दरियो 20 हजार की रिश्वत लेते रंगे हाथों गिरफ्तार किया है। ACB रायपुर की टीम ने उसे मिली शिकायत की जांच के बाद यह कार्यवाही की। एक लंबे अर्से बाद एसीबी ने किसी पुलिस कर्मी को रिश्वत लेते पकड़ा है। इससे पूरे महकमे में हड़कंप है। रायपुर में दहेज प्रताड़ना के मामले में अपराध दर्ज करने के नाम पर रिश्वत लेते रायपुर महिला थाने की TI वेदवती दरियो को ACB ने 20 हजार रुपए रिश्वत लेते रंगे हाथों किया गिरफ्तार किया है. महिला थाना प्रभारी ने प्रार्थिया प्रीति बंजारे से पति के खिलाफ FIR दर्ज करने के नाम पर 50 हजार की मांग की थी. जिसके बाद महिला के साथ 35 हजार में सौदा हुआ था।