राजधानी के डीडी नगर थाना क्षेत्र में हुए सिद्धार्थ आशटकर के अपहरण मामले को पुलिस ने सुलझा लिया है। सिद्धार्थ का पूर्व परिचित अंकित मिश्रा ही इस पूरे घटनाक्रम का मास्टर माइंड है। आरोपी ने चार अन्य के साथ मिलकर इस पूरे अपहरणकांड की प्लानिंग तैयार की थी। मामले में अंकित मिश्रा और उसके एक साथी राज तोमर को गिरफ्तार किया गया है। मुख्य आरोपी अंकित मिश्रा पूर्व में सिद्धार्थ के घर में किराए पर रहता था।
जानिए क्या था मामला
दरअसल, सिद्धार्थ आशटकर के दुकान में काम करने वाले उपेन्द्र साव ने थाना डी. डी. नगर में रिपोर्ट दर्ज कराया था कि वो ग्राम बरनईदादार सांकरा जिला महासमुंद का रहने वाला है। वर्तमान में सिद्धार्थ आशटकर के हास्टल डंगनिया बाजार के पीछे रहता है। साथ ही उसके इंटीरियर पेराडाइस वालपेपर शाप डंगनिया मोड में 5 माह से काम कर रहा है। 2 जून को रात 8.25 मिनट पर दुकान मालिक सिद्धार्थ आशटकर घर चले गया था, तभी दो ग्राहक दुकान में वालपेपर देखने आये और सिद्धार्थ को पूछने लगे। दुकान के कर्मचारी दवारा जब सिद्धार्थ नहीं है कहा गया तो उसे फोन कर बुलाने को कहा। सिद्धार्थ के आने पर ग्राहक वालपेपर पसंद कर चले गये। रात में 8.50 को दुकान बंद करने के दौरान एक स्लेटी कलर की कार दुकान के सामने रूकी। कार के अंदर से तीन व्यक्ति उतरे और दुकान के अंदर आ गये।
इस दौरान तीन व्यक्तियों में से एक व्यक्ति दुकान की आलमारी, दराज को टटोलते हुए सामान फेंकने लगा। सिद्धार्थ आशटकर द्वारा क्या हो गया, क्यों ऐसा कर रहे हो कहने पर तीनों मारपीट करते हुए सिद्धार्थ आशटकर को खींचकर अपनी कार में डालकर चले गए। इसके बाद दुकान के कर्मचारी ने इसकी शिकायत डीडी नगर थाणे में दी । अज्ञात आरोपियों के विरूद्ध थाना डी.डी.नगर में धारा 365, 34 के तहत अपराध दर्ज की गई।
अपहरण की घटना को SSP प्रशांत अग्रवाल ने गंभीरता से
लिया और ASP अभिषेक माहेश्वरी, ASP पश्चिम देवचरण
पटेल, एण्टी क्राईम और साईबर की टीम को नाकेबंदी कर आरोपियों की गिरफ्तार करने निर्देश दिए। रायपुर पुलिस की
अलग-अलग टीमों द्वारा रायपुर जिले के कई स्थानों मेंनाकेबंदी पाईंट लगाया गया।
कड़ी नाकेबंदी को देखते हुए आरोपी दबाव में आकर सिद्धार्थ आशटकर को कवर्धा जिले के दशरंगपुर में छोड़कर फरार हो गये। टीम के सदस्यों द्वारा सिद्धार्थ आशटकर को सकुशल कवर्धा के दशरंगपुर से बरामद किया गया।
ऐसे पकड़ाए आरोपी
पुलिस की टीम अपहृत सिद्धार्थ आशटकर से घटना व आरोपियों के संबंध में पूछताछ करते हुए अपहरणकर्ताओं द्वारा अपहृत को जिन-जिन मार्गों से ले जाया गया था उन मार्गो में लगे सीसीटीव्ही कैमरे, फुटेजों का देखा गया। इसी दौरान पुलिस को पता चला की इस घटना में सिद्धार्थ का पूर्व किरायेदार अंकित मिश्रा भी इस घटना में शामिल है और वर्तमान में जिला दुर्ग के अमलेश्वर में रहता है। इस सूचना के बाद पुलिस की टीम ने अंकित मिश्रा को पकड़कर कड़ाई से पूछताछ की। आरोपी अंकित ने अपने साथी राज तोमर सहित 4 साथियों के साथ मिलकर सिद्धार्थ के अपहरण की बात कबूल की।
1 करोड़ की फिरौती के लिए किडनैप
आरोपी अंकित को पता था कि सिद्धार्थ के पिता ने करोड़ो का घर बनाया है और उनके पास काफी नगदी भी है। इसी लालच में सिद्धार्थ का अपहरण अपने साथियों के साथ मिलकर किया। अपहरण कर ले जाने के दौरान आरोपी राज तोमर पचपेड़ी नाका के पास वाहन से उतर गया और बाकी आरोपी सिद्धार्थ आशटकर को लेकर रायपुर के अलग-अलग स्थानों में घुमाते हुए सिद्धार्थ के पिता से 1 करोड़ रूपये फिरौती मांगने लगे।
इधर, पुलिस की नाकेबंदी देख अपहरणकर्ता पकड़े जाने के डर से कवर्धा जिले के दशरंगपुर पास सिद्धार्थ को छोड़कर फरार हो गये। आरोपी अंकित मिश्रा एवं राज तोमर को गिरफ्तार कर उनकी निशानदेही पर कब्जे से घटना में प्रयुक्त इनोवा जब्त किया गया है। घटना में संलिप्त 3 आरोपी फरार है जिनकी तलाशी की जा रही है।